तुम्हारे खत हमे नई राह दिखाते हैं
तुम्हारे खत हमे नई राह दिखाते हैं
सो लिखते रहना तुम हमे नित नये खत..
ना कुछ सही हैं ना ग़लत..
जो मन को अच्छा लगे सो अच्छा...
इसमे कोई तर्क नही वितर्क नही..
ग़लत या सही को छोड़ कर भी एक राह हैं..
प्रेम की राह जो एक बार किसी ने पकड़ ली..
तो कुछ भी नही बचता शेष..
हम तुम मैं मेरा
सब विलीन हो जाएँगे..रह जाएगा सिर्फ़ प्रेम
क्यूँ तुम्हे तो पता होगा ना...मरने के बाद भी
शरीर भले ही चला जाता हैं..लेकिन मोहब्बत यही रह जाती है..
सबके दिलो मे..
2 Comments:
सच में प्रेम तो अमर होता ही है
सुन्दर ....
ब्लॉग पसंद करने का बहुत बहुत शुक्रिया...ऐसे ही हौसला बढ़ाते रहे...शिव जी
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